मां दुर्गा को विभिन्न स्वरूप तथा नामों से जाना जाता है जिसमें अम्बे माता अति प्रसिद्ध नाम है। मां अम्बे की कृपा होते ही साधक अपने मन एकाग्र चित्त कर अपने उत्तम जीवन का आनंद लेता है। मां अम्बे अपने भक्तों पर सदैव कृपा बरसाती हैं यह भक्तवत्सल हैं। भक्तों को शरण देना ऋषि-मुनियों को अभय दान देना इनका परम उद्देश्य है। पृथ्वी पर जब-जब बुराइयों का चलन बढ़ जाता है उनका मान मर्दन करने माता विभिन्न रूपों में समय समय पर उपस्थित होती हैं, प्रस्तुत लेख में आप माता अंबे की आरती पढ़ेंगे।
Ambe Tu Hai Jagdambe Kali Lyrics (अम्बे तू है जगदम्बे काली)
अम्बे तू है जगदम्बे काली,
जय दुर्गे खप्पर वाली ।
तेरे ही गुण गाये भारती,
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
तेरे भक्त जनो पर,
भीर पडी है भारी माँ ।
दानव दल पर टूट पडो,
माँ करके सिंह सवारी ।
सौ-सौ सिंहो से बलशाली,
अष्ट भुजाओ वाली,
दुष्टो को पलमे संहारती ।
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
अम्बे तू है जगदम्बे काली,
जय दुर्गे खप्पर वाली ।
तेरे ही गुण गाये भारती,
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
माँ बेटे का है इस जग मे,
बडा ही निर्मल नाता ।
पूत – कपूत सुने है पर न,
माता सुनी कुमाता ॥
सब पे करूणा दरसाने वाली,
अमृत बरसाने वाली,
दुखियो के दुखडे निवारती ।
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
अम्बे तू है जगदम्बे काली,
जय दुर्गे खप्पर वाली ।
तेरे ही गुण गाये भारती,
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
नही मांगते धन और दौलत,
न चांदी न सोना माँ ।
हम तो मांगे माँ तेरे मन मे,
इक छोटा सा कोना ॥
सबकी बिगडी बनाने वाली,
लाज बचाने वाली,
सतियो के सत को सवांरती ।
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
अम्बे तू है जगदम्बे काली,
जय दुर्गे खप्पर वाली ।
तेरे ही गुण गाये भारती,
ओ मैया हम सब उतरें, तेरी आरती ॥
संबंधित लेख भी पढ़ें
25 Maa Durga Quotes, status, shlok in Hindi
Durga Puja Quotes in Hindi (दुर्गा पूजा की शुभकामनाएं)
35 Maa Saraswati quotes in Hindi
Sampoorna Durga chalisa lyrics in hindi
Durga Mata ki Aarti Lyrics in Hindi
Kabir ke dohe कबीर के दोहे व्याख्या सहित
महर्षि वाल्मीकि | जिन्होंने रामायण की रचना करके मानव समाज को जीवन का मूल मन्त्र दिया
समापन
माता अंबे को जगत जननी कहा गया है वह आदिशक्ति हैं वह पूरे ब्रह्मांड की माता है इसलिए उन्हें जगदंबा भी कहा जाता है माता का वर्णन प्रत्येक युग में देखने को मिलता है वह सदैव अपने नए स्वरूप में पृथ्वी पर अवतरित होती हैं तथा दैत्यों का संघार कर ऋषि-मुनियों तथा देवी-देवताओं को भयमुक्त करती हैं पृथ्वी पर आसुरी शक्तियों का विनाश कर मनुष्य को भक्ति का मार्ग दिखाती हैं सत्य के मार्ग पर चलते हुए भक्त माता का शरणागत होता है वह पृथ्वी पर स्वस्थ तथा सुख समृद्धि वैभव को प्राप्त होता है इतना ही नहीं मृत्यु के उपरांत वह मां अंबे की शरण में चला जाता है माता अंबे की भक्ति बेहद सुलभ है माता अपने भक्तों के छोटे से आग्रह पर भी चली आती हैं और अपनी भक्ति साधक के झोली में भर्ती हैं।